सौन्दरनन्दम् — 5.45
Original
Segmented
तत् सौम्य लोलम् परिगम्य लोकम् माया-उपमम् चित्रम् इव इन्द्रजालम् प्रिय-अभिधानम् त्यज मोह-जालम् छेत्तुम् मतिः ते यदि दुःख-जालम्
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
तत् | तद् | pos=n,g=n,c=2,n=s |
सौम्य | सौम्य | pos=a,g=m,c=8,n=s |
लोलम् | लोल | pos=a,g=m,c=2,n=s |
परिगम्य | परिगम् | pos=vi |
लोकम् | लोक | pos=n,g=m,c=2,n=s |
माया | माया | pos=n,comp=y |
उपमम् | उपम | pos=a,g=m,c=2,n=s |
चित्रम् | चित्र | pos=n,g=n,c=2,n=s |
इव | इव | pos=i |
इन्द्रजालम् | इन्द्रजाल | pos=n,g=n,c=2,n=s |
प्रिय | प्रिय | pos=a,comp=y |
अभिधानम् | अभिधान | pos=n,g=n,c=2,n=s |
त्यज | त्यज् | pos=v,p=2,n=s,l=lot |
मोह | मोह | pos=n,comp=y |
जालम् | जाल | pos=n,g=n,c=2,n=s |
छेत्तुम् | छिद् | pos=vi |
मतिः | मति | pos=n,g=f,c=1,n=s |
ते | त्वद् | pos=n,g=,c=6,n=s |
यदि | यदि | pos=i |
दुःख | दुःख | pos=n,comp=y |
जालम् | जाल | pos=n,g=n,c=2,n=s |