रामायणम् — 2.9.31
Original
Segmented
उरस् ते ऽभिनिविष्टम् वै यावत् स्कन्धात् समुन्नतम् अधस्ताच् च उदरम् शान्तम् सुनाभम् इव
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
उरस् | उरस् | pos=n,g=n,c=1,n=s |
ते | त्वद् | pos=n,g=,c=6,n=s |
ऽभिनिविष्टम् | अभिनिविश् | pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part |
वै | वै | pos=i |
यावत् | यावत् | pos=i |
स्कन्धात् | स्कन्ध | pos=n,g=m,c=5,n=s |
समुन्नतम् | समुन्नम् | pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part |
अधस्ताच् | अधस्तात् | pos=i |
च | च | pos=i |
उदरम् | उदर | pos=n,g=n,c=1,n=s |
शान्तम् | शम् | pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part |
सुनाभम् | इव | pos=i |
इव | लज्ज् | pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part |