महाभारतम् — 7.101.35
Original
Segmented
ततो ऽस्य विशिखम् तीक्ष्णम् वध-अर्थम् वध-काङ्क्षिणः प्रेषयामास समरे भारद्वाजः प्रतापवान्
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
ततो | ततस् | pos=i |
ऽस्य | इदम् | pos=n,g=m,c=6,n=s |
विशिखम् | विशिख | pos=n,g=m,c=2,n=s |
तीक्ष्णम् | तीक्ष्ण | pos=a,g=m,c=2,n=s |
वध | वध | pos=n,comp=y |
अर्थम् | अर्थ | pos=n,g=m,c=2,n=s |
वध | वध | pos=n,comp=y |
काङ्क्षिणः | काङ्क्षिन् | pos=a,g=m,c=6,n=s |
प्रेषयामास | प्रेषय् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
समरे | समर | pos=n,g=n,c=7,n=s |
भारद्वाजः | भारद्वाज | pos=n,g=m,c=1,n=s |
प्रतापवान् | प्रतापवत् | pos=a,g=m,c=1,n=s |