महाभारतम् — 3.81.11
Original
Segmented
पृथिव्यास् तीर्थम् आसाद्य गो सहस्र-फलम् लभेत् ततः शालूकिनीम् गत्वा तीर्थ-सेवी नर-अधिपैः दशाश्वमेधिके स्नात्वा तद् एव लभते फलम्
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| पृथिव्यास् | पृथिवी | pos=n,g=f,c=6,n=s |
| तीर्थम् | तीर्थ | pos=n,g=n,c=2,n=s |
| आसाद्य | आसादय् | pos=vi |
| गो | गो | pos=i |
| सहस्र | सहस्र | pos=n,comp=y |
| फलम् | फल | pos=n,g=n,c=2,n=s |
| लभेत् | लभ् | pos=v,p=3,n=s,l=vidhilin |
| ततः | ततस् | pos=i |
| शालूकिनीम् | शालूकिनी | pos=n,g=f,c=2,n=s |
| गत्वा | गम् | pos=vi |
| तीर्थ | तीर्थ | pos=n,comp=y |
| सेवी | सेविन् | pos=a,g=m,c=1,n=s |
| नर | नर | pos=n,comp=y |
| अधिपैः | अधिप | pos=n,g=m,c=8,n=s |
| दशाश्वमेधिके | दशाश्वमेधिक | pos=n,g=n,c=7,n=s |
| स्नात्वा | स्ना | pos=vi |
| तद् | तद् | pos=n,g=n,c=2,n=s |
| एव | एव | pos=i |
| लभते | लभ् | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
| फलम् | फल | pos=n,g=n,c=2,n=s |