महाभारतम् — 12.104.10
Original
Segmented
यथा वैतंसिको युक्तो द्विजानाम् सदृश-स्वनः तान् द्विजान् कुरुते वश्यान् तथा युक्तो महीपतिः वशम् च उपनयेत् शत्रून् निहन्यात् च पुरंदर
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
यथा | यथा | pos=i |
वैतंसिको | वैतंसिक | pos=n,g=m,c=1,n=s |
युक्तो | युज् | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part |
द्विजानाम् | द्विज | pos=n,g=m,c=6,n=p |
सदृश | सदृश | pos=a,comp=y |
स्वनः | स्वन | pos=n,g=m,c=1,n=s |
तान् | तद् | pos=n,g=m,c=2,n=p |
द्विजान् | द्विज | pos=n,g=m,c=2,n=p |
कुरुते | कृ | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
वश्यान् | वश्य | pos=a,g=m,c=2,n=p |
तथा | तथा | pos=i |
युक्तो | युज् | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part |
महीपतिः | महीपति | pos=n,g=m,c=1,n=s |
वशम् | वश | pos=n,g=m,c=2,n=s |
च | च | pos=i |
उपनयेत् | उपनी | pos=v,p=3,n=s,l=vidhilin |
शत्रून् | शत्रु | pos=n,g=m,c=2,n=p |
निहन्यात् | निहन् | pos=v,p=3,n=s,l=vidhilin |
च | च | pos=i |
पुरंदर | पुरंदर | pos=n,g=m,c=8,n=s |